राम रहीम की पैरोल पर भड़की शिअद:परमबंस बोले- चुनावी फायदे को दी जा रही पैरोल

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डेरा मुखी राम रहीम की पैरोल का विरोध लगातार जारी है। अब शिरोमणि अकाली दल (शिअद) नेता परमबंस सिंह बंटी रोमाणा ने बुधवार को चंडीगढ़ में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर पंजाब के भाजपा नेताओं पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा कि स्वयं को सिखों का बड़ा हितैषी बताने वाले भाजपा नेता सुनील जाखड़ और अश्वनी शर्मा इस मामले पर चुप क्यों है।

परमबंस सिंह ने कहा कि राम रहीम को लगातार पैरोल और फरलो दी जा रही है, लेकिन 28-30 साल से जेल में बंद राजोआणा और अन्य सिख कैदियों की रिहाई पर पंजाब के भाजपा नेता चुप बैठे हैं।

राजाओणा को 30 साल में केवल एक घंटे की पैरोल
उन्होंने कहा कि राजोआणा को पिता की अंतिम अरदास में शामिल होने के लिए 30 साल में केवल एक घंटे की पैरोल दी गई थी। क्या CM हरियाणा मनोहर लाल खट्‌टर और पंजाब के भाजपा नेता बताएंगे कि क्या पैरोल और फरलो की छूट केवल राम रहीम के लिए ही रिजर्व है। CM मनोहर लाल ने कहा कि पैरोल हर किसी का हक है और वह हस्तक्षेप नहीं करेंगे तो क्या यह हक केवल भाजपा के साथ चलने वालों का ही रह गया है।

चुनाव के नजदीक दी जा रही पैरोल
परमबंस सिंह बंटी रोमाणा ने साल 2017 में शिअद की मदद की बात पर कहा कि उस दौरान भी राम रहीम ने भाजपा की मदद की थी। क्योंकि शुरुआत से कांग्रेस और भाजपा की मदद की जाती रही है। उन्होंने कहा कि कैप्टन अमरिंदर सिंह, सुनील जाखड़, मनप्रीत बादल और परमिंदर सिंह ढींढसा राम रहीम के डेरे पर माथा टेकते रहे हैं। उन्होंने कांग्रेस पर राम रहीम से नजदीकी के आरोप लगाए।

6 बार रिजेक्शन के बाद समीकरण अचानक बदले
परमबंस सिंह ने कहा कि साल 2019-20 में राम रहीम की पैरोल की 6 अर्जी रिजेक्ट की गई। साल 2020 और 2021 में भी एक दिन की पैरोल दी गई थी। सवाल खड़े किए कि चुनाव से पहले भाजपा के साथ ऐसे क्या सौदा हुआ कि राम रहीम का जेल से बाहर अधिक समय निकल रहा है।

चुनावी फायदे को दी जा रही पैरोल
परमबंस सिंह ने कहा कि साल 2022 में मार्च में पंजाब चुनाव से करीब एक महीने पहले 7 फरवरी को हरियाणा की भाजपा सरकार ने राम रहीम को 21 दिन की पैरोल दी। फिर जून में संगरूर उपचुनाव से पहले दोबारा 30 दिन की पैरोल दी। बीते अक्टूबर में आदमपुर उपचुनाव और हिमाचल प्रदेश चुनाव के मद्देनजर भाजपा सरकार द्वारा राम रहीम को 14 अक्टूबर को 40 दिन की पैरोल दी गई।

सुनील जाखड़ इस मुद्दे पर क्यों नहीं बोलते
परमबंस सिंह ने कहा कि भाजपा सरकार ने अब जालंधर उपचुनाव के मद्देनजर दोबारा 40 दिन की पैरोल दी है। क्योंकि यह एक सेट पैटर्न है। उन्होंने कहा कि सुनील जाखड़ स्वयं को सिख कहते हैं तो वह इस मुद्दे पर क्यों नहीं बोलते। इस मुद्दे पर भाजपा के सिख चेहरे कैप्टन अमरिंदर सिंह, लालपुरा और दिल्ली गुरूद्वारा प्रबंधक कमेटी के कालका और सिरसा भी चुप हैं।

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