हिमाचल के मंडी के कलाकार 26 जनवरी को दिल्ली के कर्तव्य पथ पर अपनी कला का प्रदर्शन करेंगे। मांडव्य कला मंच के कलाकार दिल्ली के इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम में लुड्डी लोक नृत्य की तैयारियों में सुबह-शाम पसीना बहा रहे हैं। इस बार देश के सबसे बड़े उत्सव में सांस्कृतिक झलकी की थीम ‘नारी शक्ति’ रखी गई है। वहीं, दूसरी तरफ 7 जनवरी से देश के लगभग 475 कलाकार भी अपनी तैयारी में जुटे हैं।
देश के शीर्ष प्रतिभावान कलाकारों के लिए गणतंत्र दिवस के उपलक्ष्य पर सांस्कृतिक झलकी प्रस्तुत करने के लिए वंदे भारतम् नृत्य उत्सव कार्यक्रम शुरू किया गया है। इस कार्यक्रम के तहत सांस्कृतिक दलों को राज्य, अंतरराज्यीय प्रतियोगिता के बाद ग्रैंड फिनाले से पार पाना होता है। हिमाचल से पहली बार मांडव्य कला मंच ने सभी प्रतियोगिताओं को पार करते हुए दिल्ली पहुंचकर प्रदेश का मान बढ़ाया है। इस दल का नेतृत्व प्रदेश के विख्यात संस्कृति कर्मी ए कलाकार कुलदीप गुलेरिया कर रहे हैं।
विलुप्त हो चुके लोक नृत्य को पुनर्जीवित किया
कुलदीप ने अपने 35 साल के सांस्कृतिक सफर में विलुप्त हो चुके जनपद के लोक नृत्य को एक साल तक शोध कार्य कर 90 के दशक में पुनर्जीवित किया। इस नृत्य का अब तक 3000 से ज्यादा प्रस्तुतिकरण करते हुए अंतरराष्ट्रीय पहचान दिलाई गई है। साक्षरता अभियान के दौरान लगभग 10000 कलाकारों परोक्ष और अपरोक्ष रूप में जोड़ा गया।
5000 से ज्यादा युवाओं को किया जागरूक
वहीं, 8000 से ज्यादा बांठड़ा शैली नुक्कड़ नाटकों का कीर्तिमान स्थापित कर लोक संस्कृति के प्रति रुझान कायम रखने के ‘लुड्डी’ के साथ लोक नाच बुड्ढा, लोक नाट्य बांठड़ा, लोक गाथा, संस्कार गीतों आदि के लिए सांस्कृतिक संवाद एवं प्रशिक्षण कार्यशालाओं के माध्यम से 5000 से ज्यादा युवाओं को जागरूक करते हुए अनेक उपलब्धियां अर्जित की हैं।
संगीत जगत की जानी-मानी विभूतियां कर रहीं कोरियोग्राफ
गणतंत्र दिवस 2023 की तैयारियों के लिए मांडव्य कला मंच मंडी के कलाकार भारत पर्यटन विकास निगम के अशोक आतिथ्य एवं पर्यटन प्रबंधन संस्थान ‘द अशोक-सम्राट’ होटल दिल्ली में ठहरे हैं। इस कार्यक्रम को संगीत जगत की जानी-मानी विभूतियां कोरियोग्राफ कर रही हैं।