मेयर जीती सिद्धू को राहत, हाईकोर्ट ने पद से हटाने के आदेश पर रोक लगाई

0
46

पंजाब एंव हरियाणा हाईकोर्ट ने मोहाली मेयर अमरजीत सिंह सिद्धू उर्फ जीती सिद्धू को बड़ी राहत दी है। हाईकोर्ट ने उन्हें मेयर और काउंसलर के पद से हटाए जाने के आदेशों पर रोक लगा दी है। ऐसे में जीती सिद्धू अब मेयर बने रहेंगे। मामले में अगली सुनवाई 20 अप्रैल को होगी।

बता दें कि पंजाब सरकार ने जीती सिद्धू पर चल रही एक जांच में कार्रवाई करते हुए उन्हें मेयर की कुर्सी से हटाने के आदेश जारी किए थे। जीती सिद्धू ने उन आदेशों को हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। जिस पर पंजाब सरकार का जवाब सुनने के बाद हाईकोर्ट ने अपना फैसला रिजर्व रख लिया था। इसके बाद अब यह फैसला आया है।

जीती सिद्धू ने बीते 28 दिसंबर के आदेशों को हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। उसमें पंजाब लोकल बॉडीज डिपार्टमेंट ने उनकी हाउस मेंबरशिप को कैंसिल कर दिया था। जस्टिस विनोद एस भारद्वाज केस की सुनवाई कर रहे थे।

यह आरोप लगाए थे
जीती सिद्धू पंजाब के पूर्व हेल्थ मिनिस्टर बलबीर सिंह सिद्धू के छोटे भाई हैं। उन पर आरोप था कि उन्होंने उन फाइनेंस एंड कॉन्ट्रैक्ट कमेटी(F&CC) की बैठकों की अध्यक्षता की, जिसमें टेंडर उस सोसाइटी को दिए गए जिसके वह मेंबर थे। विपक्ष ने आरोप लगाया था कि जीती सिद्धू ने सोसाइटी को 12 टेंडर अलॉट किए जो लगभग 1.5 करोड़ के थे। अमृतपाल कोऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड मोहाली के फेज 6 में स्थित है।

तानाशाही तरीके से हटाया गया
जीती सिद्धू ने हाईकोर्ट में कहा था कि उन्हें काउंसलर के पद से इसलिए हटाया गया क्यों कि वह संबंधित सोसाइटी के मेंबर थे। तानाशाही तरीके से राजनीतिक द्वेष के चलते सरकार ने यह कार्रवाई की। पंजाब म्यूनिसिपल कॉर्पोरेशन एक्ट, 1976 के तहत उन्हें इस प्रकार हटाए जाने का कोई आधार नहीं है। वहीं कहा गया कि एक्ट किसी मेंबर को सोसाइटी से जुड़ने पर रोक नहीं लगाता। वहीं इससे मेंबर की योग्यता रद भी नहीं होती।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here